Bhopal आयुष्मान हॉस्पिटल में इलाज के दौरान महिला की मौत, परिजनों ने लगाया आरोप

मृतका के भाई ने अस्पताल प्रबंधन पर आरोप लगाते हुए इसकी शिकायत स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी, जनप्रतिनिधियों सहित “मुख्यमंत्री हेल्प लाइन पर की है।

स्वास्तिक न्यूज़ पोर्टल @ भोपाल रमाकांत उपाध्याय/ 


भोपाल भानपुर पर स्थित आयुष्मान अस्पताल
में कुछ दिन पूर्व विदिशा निवासी श्रीमति भारती भार्गव की इलाज के दौरान मौत हो गई। इसकी जानकारी लगते ही महिला के गाँव से आये ग्रामीण जन और परिजनों ने अस्पताल में हंगामा किया एवं लापरवाही का आरोप लगाते हुए न्याय की गुहार लगाई। महिला के मौत की सूचना देने से एक घण्टे पहले ही अस्पताल प्रबंधन ने 1 स्थानीय पुलिस को मौके पर बुलाया और परिजनों को महिला के शव के साथ अस्पताल से बाहर निकाल दिया। जिससे अस्पताल प्रवंधन के खिलाफ महिला के परिजनों का गुस्सा देखने मिला। परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर इलाज में लापरवाही एवं अतिरिक्त पैसे लेने का आरोप लगाते हुए मुख्यमंत्री हेल्पलाइन पर शिकायत की इसके अलावा स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों सहित जनप्रतिनिधियों से भी न्याय दिलाए जाने की मांग की है। 

परिजनों का आरोप है कि भारती भार्गव को मृत्यु से 2 दिन पूर्व 18 अक्टूबर को दोपहर करीब 3 से 4 बजे के बीच इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया था परिजनों ने बताया उस समय मरीज की स्थिति इतनी खराब नहीं थी वह स्वयं भोजन करके अपने पैरों पर चलकर अस्पताल में भर्ती हुई थी।

लेकिन भर्ती होने के कुछ समय बाद ही अस्पताल प्रबंधन ने मरीज को 1 इंजेक्शन लगाया जिसके बाद में मरीज होश में नहीं आई और 24 घंटे मैं परिजनों को कुछ असहज महसूस हुआ और उन्होंने बार-बार मरीज से मिलने की गुहार लगाई लेकिन अस्पताल प्रबंधन ने ना तो मरीज का हाल बताया ना ही परिजनों को मिलने दिया।  परिजनों ने मीडिया को बताया कि जब उन्होंने अन्य अस्पताल के सर्जन को बुलाने और चेकअप कराने की बात कही तब आयुष्मान अस्पताल के प्रबंधन द्वारा स्थानीय पुलिस को बुला लिया और वेंटिलेटर निकालकर बताया कि आप के मरीज की मृत्यु हो चुकी है जबकि 24 घंटे पहले ही मरीज स्वयं चलते फिरते अस्पताल में आया था।

फिर ऐसा क्या हुआ की एकाएक मरीज की मृत्यु हो गई परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर अनेक आरोप लगाते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से हेल्पलाइन 181 पर शिकायत करते हुए मदद की गुहार लगाई है। परिजनों का कहना है कि उक्त अस्पताल पर कठोर से कठोर दंडात्मक कार्रवाई होना चाहिए जिससे की अन्य मरीजों के साथ ऐसी कोई घटना घटित ना हो सके|और परिजनों ने मांग की है कि जिस दिन मरीज को भर्ती किया था उस दिन से लेकर आज तक के वीडियो निकलवा कर जांच की जाए।


15 घण्टे में भी मृतका का शरीर नहीं पड़ा ठंडा
परिजन मृतका का श। लेकर अपने गांव पहुंच गए लेकिन जब अगले दिन करीब 15 घण्टे बाद भी मृतका का शरीर ना तो ठंडा हुआ ना ही कड़क तब परिजनों ने
भारती भार्गव को पीपुल्स अस्पलाल भोपाल ले गए लेकिन अस्पताल प्रबंधन ने भारती को मृत घोषित कर दिया इस पूरी घटना से परिजनों के साथ साथ पूरे गांव में आयुष्मान अस्पताल के प्रति आक्रोश व्याप्त है जिसकी शिकायत करते हुए परिजनों ने कार्यवाही की मांग की है। परिजनों ने बताया कि चलते फिरते मरीज कि 24 घंटे में एकाएक मृत्यु होने पर प्रश्नचिन्ह खड़ा हो रहा है इसी बात को लेकर अस्पताल प्रबंधन से बातचीत की जा रही थी ।

अस्पताल प्रबंधन द्वारा अमानवीय व्यवहार करते हुए पुलिस को बुलाकर शब के साथ परिजनों को अस्पताल से बाहर खदेड़ दिया साथ ही ट्रीटमेंट संबंधी पूर्ण दस्तावेज भी परिजनों के सुपुर्द नहीं किये जिससे परिजनों में अस्पताल के प्रति असंतोष एवं गहरा आक्रोश व्याप्त है।

भाई ने की मुख्यमंत्री हेल्पलाइन पर शिकायत

मृतका श्रीमती भारती भार्गव के भाई वरिष्ठ पत्रकार लक्ष्मी नारायण चौबे ने अपने मोबाइल नंबर 98275-38096 एवं 70000-21216 से आयुष्मान अस्पताल मैं हुई घोर लापरवाही की शिकायत मुख्यमंत्री हेल्पलाइन पर की है। चौबे ने बताया कि अस्पताल प्रबंधन द्वारा इलाज में अनियमितता के कारण उनकी बहन की जान गई इस अनियमितता के लिए आयुष्मान अस्पताल प्रबंधन पर कार्यवाही होना चाहिए।

अस्पताल प्रबंधक ने पल्ला झाड़ा

आयुष्मान अस्पताल के डॉक्टर ओपी नायक का कहना है कि हमारे अस्पताल में जब मरीज भर्ती हुआ उस समय मरीज की स्थिति खराब थी।  मरीज के शरीर में प्लेटरेट 13000 ही बचे थे अंदर भी ब्लीडिंग हो रही थी मरीज की पूरी स्थिति उनके परिजनों को पहले ही बता दी थी।